Saturday, June 9, 2012

हमने पाया था जिसे बरसो में इबादत कर के

कभी जज्बों कभी ख़्वाबों की तिजारत कर के
दिल ने दुःख दर्द कमाए हैं मोहब्बत कर के

तुम जब आओगे तो महफूज़ मिलेंगे तुमको
हमने दफनाए हैं कुछ ख़्वाब अमानत कर के

इक ज़रा सी भूल हुई और उसे खो बैठे
हमने पाया था जिसे बरसो में इबादत कर के

--अज्ञात

Source : http://www.freesms4.com/2010/09/20/paya-tha-jisay-barson-me-ibadat-kar-k/

No comments:

Post a Comment