Wednesday, June 1, 2011

तुम मेरे दिन रातों में आ जाते हो

तुम मेरे दिन रातों में आ जाते हो
आंसू बन कर आँखों में आ जाते हो

एक तुम्ही से इश्क है मुझको जन्मों से
क्यों लोगों की बातों में आ जाते हो

--सतलाज राहत

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